रायबरेली-संचारी रोग नियंत्रण अभियान में रायबरेली अव्वल उपलब्धि

रायबरेली-संचारी रोग नियंत्रण अभियान में रायबरेली अव्वल उपलब्धि

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• रायबरेली ने हासिल किये  सर्वाधिक 96  अंक
• एक से 30 अप्रैल तक चला था  विशेष संचारी रोग नियंत्रण अभियान
• 11 से 30 अप्रैल तक चला था दस्तक अभियान 
रायबरेली,  6 मई 2025
संचारी रोग नियंत्रण अभियान (एसएनसीए) और दस्तक अभियान में रायबरेली  ने अच्छा काम करते हुए प्रदेश में पहला स्थान हासिल किया है। 
इसको लेकर मुख्य चिकित्सा अधिकारी (सीएमओ) डॉ. नवीन चन्द्रा  ने बताया कि शासन की ओर से जारी दस्तक-एसआरएनए मॉनिटरिंग इंडीकेटर्स डिस्ट्रिक्ट स्कोरिंग शीट के मुताबिक जिले ने  96अंक प्राप्त कर पहला स्थान हासिल किया है।  उन्होंने कहा कि यह बहुत ही गर्व की बात है। इसके लिए इस अभियान से जुड़े  जनपद के सभी सहयोगी विभाग के अधिकारी, कर्मचारी और स्वास्थ्य कार्यकर्ता बधाई के पात्र हैं।
वहीं अपर मुख्य चिकित्सा अधिकारी वेक्टर बॉर्न डा श्री कृष्णा  ने बताया कि  जनपद ने अभियान में कुल  96 अंक हासिल कर पूरे प्रदेश में प्रथम स्थान हासिल किया है |
जनपद समेत पूरे सूबे में एक से 30  अप्रैल तक विशेष संचारी रोग नियंत्रण अभियान तथ 11 से 30 तक  संचारी रोग नियंत्रण अभियान चला था जिसके तहत  लगातार जागरूकता कार्यक्रमों के आयोजन के साथ ही मच्छरों की ब्रीडिंग के स्रोत नष्ट करने का कार्य किया गया है। इसके अलावा स्वास्थ्य विभाग की ओर से पंपलेट, पोस्टर, बैनर एवं माइक के जरिए भी अभियान का प्रचार प्रसार करते हुए लोगों को मच्छरों से बचाव के प्रति जागरूक किया जा रहा है। दस्तक अभियान केतहत बुखार, आईएलआई  के रोगियों,कुपोषित बच्चों ,टीबी और फ़ाइलेरिया के संभावित रोगियों की पहचान कर इनसे सम्बन्धित सूचना सीएचसी तक पहुंचाई है |  
जिला स्वास्थ्य शिक्षा एवम सूचना अधिकारी डी.एस.अस्थाना  ने कहा कि पंचायती राज सहित सभी विभागों के सहयोग का ही परिणाम रहा कि जनपद प्रदेश में अव्वल आया है | श्री अस्थाना जी ने बताया कि  मलेरिया एनाफिलीज मच्छर और डेंगू  एडीज़ मच्छर के काटने से होता है | दोनों ही मच्छर ठहरे और साफ पानी में पनपते हैं। मलेरिया सहित अन्य वेक्टर जनित बीमारियों से बचाव के लिए साल में तीन बार स्वास्थ्य विभाग की ओर से विशेष संचारी रोग नियंत्रण अभियान और हर इतवार को “हर रविवार-मच्छर पर वार” अभियान चलाकर फॉगिंग, मच्छर रोधी रसायन का छिड़काव, मच्छरों से बचाव के लिए क्या करें क्या न करें पर जागरूक किया जाता है। साथ ही मच्छरों के स्रोतों को नष्ट करने सहित अन्य गतिविधियां भी की जाती हैं। उन्होंने बताया कि मच्छरों से बचाव के लिए जरूरी है कि पूरी बांह के कपड़े पहनें। सोते समय मच्छरदानी, मच्छररोधी क्रीम या क्वायल का उपयोग करें। घर के दरवाजों और खिड़कियों पर जाली लगाएं। कहीं पानी इकट्ठा है तो उसमें जला हुआ मोबिल ऑयल डाल दें। घर में टूटे हुए टायर, बर्तन आदि को हटा दें।