Raibareli-झाड़ू के बीज से जीरा बनाने वाले नौ लोगों पर 1.43 करोड़ का जुर्माना

Raibareli-झाड़ू के बीज से जीरा बनाने वाले नौ लोगों पर 1.43 करोड़ का जुर्माना

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रिपोर्ट-शिवम त्रिवेदी


रायबरेली-महराजगंज क्षेत्र में तीन साल पहले पकड़े गए मिलावटी जीरा के मामले में नौ व्यापारियों पर एडीएम (प्रशासन) अमित कुमार ने 1.43 करोड़ का अर्थदंड लगाया है। दो साल पहले भी जुर्माने के आदेश दिए गए थे, लेकिन व्यापारियों ने दोबारा सुनवाई का अनुरोध किया था।

सुनवाई के दौरान एडीएम ने सभी नौ लोगों पर 28 लाख का और अर्थदंड लगा दिया। सभी को दो माह में जुर्माना जमा करने के आदेश दिए गए हैं।
तत्कालीन सीओ महराजगंज विनीत सिंह की टीम ने आठ दिसंबर 2019 को महराजगंज कस्बे में अलग-अलग गोदामों से 800 क्विंटल मिलावटी जीरा पकड़ा था। यहां फूल झाड़ू के घास बीज से जीरा बनाने का पता चला था। एफएसडीए के सीएफएसओ इंद्र बहादुर यादव की टीम ने अगले दिन जांच करके सभी नौ कारोबारियों के गोदामों से जीरा साबुत और फूल झाड़ू घास बीज के 14 नमूने सील करके जांच कराई थी। जांच में जीरा साबुत में मिलावट और फूल झाड़ू घास बीज के नमूने असुरक्षित पाए गए थे।

 एफएसडीए की ओर से नमूने फेल होने के बाद सभी कारोबारियों के खिलाफ जुर्माने के लिए एडीएम प्रशासन के न्यायालय में मुकदमा कर दिया था। तत्कालीन एडीएम ने दिसंबर 2020 में सभी नौ कारोबारियों पर 1.15 करोड़ रुपये का जुर्माना लगाया था। कारोबारियों ने एडीएम से दोबारा सुनवाई की अनुरोध किया था। एडीएम ने दोबारा सुनवाई करके कारोबारियों को दोषी करार देते हुए जुर्माने की राशि बढ़ा दी।

एडीएम ने बछरावां रोड महराजगंज निवासी भाजपा नेता रामशंकर वर्मा के बेटे अमित प्रकाश पर 12 लाख का जुर्माना लगाया। पहले जुर्माना 10 लाख था। इसके अलावा अतरेहटा महराजगंज निवासी कमलेश कुमार मौर्या पर 19 लाख, प्रशांत साहू पर 12 लाख, प्रकाश नगर बछरावां निवासी पंकज पर 19 लाख रुपये, गांधी नगर महराजगंज निवासी राजेंद्र कुमार बारी पर 19 लाख, अतरेहटा निवासी दिनेश कुमार उर्फ भल्लू पर 19 लाख, केशव नगर महराजगंज निवासी सत्येंद्र केशरवानी पर 19 लाख, आनंद नगर महराजगंज निवासी फूलचंद्र साहू पर 12 लाख और चंदापुर महराजगंज निवासी पवन गुप्ता पर 12 लाख रुपये

 जुर्माना किया है। जिन कारोबारियों पर पहले 10 लाख जुर्माना लगा था, उन्हें अब 12 लाख रुपये देना होगा। वहीं जिन कारोबारियों पर 15 लाख का जुर्माना लगाया गया था, उनके जुर्माने की धनराशि बढ़ाकर 19 लाख कर दी गई। दो माह के अंदर जुर्माने की धनराशि जमा करने के आदेश दिए हैं। ऐसा न करने पर तहसील से भू-राजस्व की भांति वसूली के आदेश दिए हैं।

 फूल झाड़ू घास बीज से जीरा बनाने में केस भी दर्ज

एफएसडीए के मुख्य खाद्य सुरक्षा अधिकारी इंद्र बहादुर यादव ने बताया कि मिलावटी जीरा बनाने में फूल झाड़ू घास बीज का प्रयोग किया गया था। मिलावटखोर फूल झाड़ू घास बीज को पीसकर पाउडर बना देते थे। फिर इसमें धनिया पाउडर मिलाकर घास बीज को असली जीरे का रूप देते थे। गुड़ के सीरा, संगमरमर का पाउडर और झाड़ू बीज मिलाकर इसे असली जीरे का रूप दिया जाता था। कोई इसे पहचान भी नहीं पाता था। नौ दिसंबर 2019 को मुखबिर की सूचना पर पुलिस ने नौ स्थानों से नकली जीरे के नमूने सील किए थे। सभी पर महराजगंज कोतवाली में मुकदमा भी दर्ज कराया गया था।
महराजगंज में जीरे का नमूना फेल आने के बाद नौ व्यापारियों पर 1.43 करोड़ रुपये का जुर्माना लगाया गया है। दो साल पहले 1.15 करोड़ का जुर्माना हुआ था, लेकिन दोबारा सुनवाई के दौरान एडीएम प्रशासन ने 28 लाख रुपये जुर्माना और बढ़ा दिया है। कारोबारियों ने जनता के विश्वास के साथ खिलवाड़ किया है। सभी को दो माह में जुर्माने की राशि जमा करने के आदेश दिए गए हैं।
अजीत कुमार राय, सहायक खाद्य आयुक्त, द्वितीय एफएसडीए